US Fed: मौद्रिक नीति, ब्याज दरें और आर्थिक प्रभाव
जब बात US Fed, संयुक्त राज्य अमेरिका की केंद्रीय बैंक, आधिकारिक रूप से फेडरल रिज़र्व सिस्टम, जो मौद्रिक नीति तय करता है. Also known as फ़ेडरल रिज़र्व है, यह मौद्रिक नीति के जरिए आर्थिक स्थिरता बनाए रखता है। ब्याज दर में बदलाव, मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने का मुख्य उपकरण है, जबकि फेडरल ओपन मार्केट कमेटी (FOMC) इन निर्णयों को अंतिम रूप देता है। ये तत्व मिलकर डॉलर की वैल्यू, शेयर बाजार और बॉन्ड यील्ड को आकार देते हैं।
एक सामान्य पाठक को अक्सर US Fed की आवाज़ सुनाई देती है जब फेड दरें घटाता या बढ़ाता है। दर वृद्धि खर्च को महंगा बनाती है, इसलिए कंपनियों के निवेश और घरों के लोन पर असर पड़ता है। उल्टा, दरें घटाने से क्रेडिट सस्ता हो जाता है, जिससे आर्थिक गति तेज़ होती है, लेकिन अगर बहुत तेज़ हो तो मूल्यवृद्धि बढ़ सकती है। फेड की नीति‑निर्णय केवल घरेलू नहीं, बल्कि वैश्विक बाजार‑भावना को भी प्रभावित करती है; यूरोप, एशिया और उभरते बाजारों में पूंजी प्रवाह अक्सर US Fed की कार्रवाई के साथ झुका रहता है।
US Fed के प्रमुख उपकरण और उनका उपयोग
फेड के पास तीन मुख्य उपकरण होते हैं: ओपन मार्केट ऑपरेशन्स, डिस्काउंट रेट और रिज़र्व आवश्यकताएँ। ओपन मार्केट ऑपरेशन्स में सरकारी बॉण्ड खरीद‑बेच करके शॉर्ट‑टर्म लिक्विडिटी नियंत्रित की जाती है। डिस्काउंट रेट वह दर है जिस पर बैंकों को फेड से अल्पकालिक लोन मिलता है, जिससे बाजार में कुल पैसों की मात्रा बदलती है। रिज़र्व आवश्यकताओं को बदलकर बैंकों को उनके जमा का कितना हिस्सा बंधक के रूप में रखनी है, यह तय किया जाता है, जिससे उधारी की क्षमता सीमित या विस्तारित होती है। इन टूल्स के मिश्रण से फेड आर्थिक संकेतकों के आधार पर कदम उठाता है।
आजकल फेड खबरों में अक्सर "इन्फ्लेशन टार्गेटिंग" या "क्वांटिटेटिव टाइटेनिंग" शब्द सुनते हैं। इनका मतलब है कि फेड अपने लक्ष्य‑मुद्रास्फीति स्तर (आमतौर पर 2%) को हासिल करने के लिए मुद्रा आपूर्ति को कम या बढ़ा सकता है। जब बैंकों को लगे कि आर्थिक बढ़ोतरी स्थिर है, तो फेड टाइटेनिंग शुरू कर सकता है, जिससे बॉन्ड यील्ड बढ़ते हैं और शेयर मार्केट में अस्थिरता आती है। इसलिए फेड के बयान पढ़ते समय इन शब्दों पर ध्यान देना चाहिए, क्योंकि वे सीधे आपके निवेश रिटर्न को प्रभावित करेंगे।
इस पेज में आप विभिन्न लेख पाएँगे जो US Fed की हालिया बैठकों, नीतियों, दर परिवर्तन और उनके भारतीय बाजार पर प्रभाव को विस्तार से बताते हैं। चाहे आप एक निवेशक हों, छात्र हों या सिर्फ सामान्य जिज्ञासा रखने वाले, यहाँ से आपको फेड के निर्णयों को समझने और उनका उपयोग करने के लिए व्यावहारिक जानकारी मिल जाएगी। आगे की सूची में उन समाचारों और विश्लेषणों का समुच्चय है जो आपके ज्ञान को अपडेट रखेंगे।
US Federal Reserve की Federal Open Market Committee (FOMC) की बैठक से लाइव अपडेट्स प्राप्त हो रहे हैं, जिसमें ब्याज दरों और मुद्रास्फीति पर फैसला लिया जा रहा है। समिति ने 5.25% से 5.5% की सीमा में बेंचमार्क रातों-रात उधार दर बनाए रखी है। अध्यक्ष जेरोम पॉवेल ने वर्ष के अंत में दरों में कटौती की संभावना व्यक्त की है। फेड ने मुद्रास्फीति को 2% लक्ष्य के करीब लाने की आवश्यकता पर जोर दिया।