ट्रम्प हत्या प्रयास पर कांग्रेस समिति ने गुप्त सेवा निदेशक से पूछे कड़े सवाल
ट्रम्प हत्या प्रयास पर सुनवाई
अमेरिका में पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की हत्या के प्रयास के बाद गुप्त सेवा के निदेशक किम्बरली चीटले को हाउस ओवरसाइट कमेटी के सामने पेश होना पड़ा। चीटले ने स्वीकार किया कि सुरक्षा में अनेक विफलताएँ हुईं जिनके कारण यह घटना हुई। इसका खुलासा करते हुए उन्होंने कहा कि यह गुप्त सेवा की 'दशकों की सबसे महत्वपूर्ण परिचालन विफलता' थी।
समिति के कड़े सवाल
समिति के सदस्य चीटले से स्पष्ट उत्तर पाने में असमर्थ रहे, जिससे उनकी नाराजगी बढ़ती गई। विशेष रूप से उस रैली की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठे जहां ट्रम्प को गोली मारी गई थी। चीटले ने सुरक्षा विवरण साझा करने से इनकार कर दिया, यह कहते हुए कि मामला अभी जांच के तहत है। इस स्पष्टीकरण ने समिति की नाराजगी बढ़ा दी।
सुरक्षा विफलताएँ और जिम्मेदारी
चीटले ने सुरक्षा विफलताओं की जिम्मेदारी ली, लेकिन इस बात के स्पष्ट उत्तर देने में असफल रहीं कि उस दिन सुरक्षा व्यवस्थाएँ कैसे चूक गईं। समिति के सदस्य, जिनमें राज कृश्णमूर्ति, गेरी कोनॉली और पीट सेशंस शामिल थे, निरंतर चीटले पर दबाव डालते रहे। उनके निर्दिष्ट उत्तर न देने पर समिति का क्रोध बढ़ता गया।
निदेशक पर इस्तीफे का दबाव
चीटले पर इस्तीफे का दबाव बढ़ता जा रहा है, लेकिन उन्होंने गुप्त सेवा का नेतृत्व करते रहने का संकल्प लिया। उन्होंने आश्वासन दिया कि 60 दिनों के भीतर वह एक पूर्ण रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगी। उनके इस आश्वासन के बावजूद समिति के सदस्य उनके जवाबों से संतुष्ट नहीं दिखे और अधिक ठोस उत्तरों की मांग की।
गुप्त सेवा की विश्वसनीयता पर सवाल
इस घटना के बाद, गुप्त सेवा की विश्वसनीयता और उसके द्वारा उच्च-प्रोफ़ाइल लक्ष्यों की सुरक्षा की क्षमता पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। इस प्रकार की सुरक्षा विफलता, विशेष रूप से एक पूर्व राष्ट्रपति के खिलाफ, गुप्त सेवा के लिए एक बड़ी चुनौती है।
नागरिकों की चिंता बढ़ी
इस घटना ने आम जनता में भी सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ा दी है। लोग सोचने लगे हैं कि अगर गुप्त सेवा एक पूर्व राष्ट्रपति की भी सुरक्षा सुनिश्चित नहीं कर सकती, तो आम नागरिकों की सुरक्षा कैसे सुनिश्चित करेगी। ऐसे में गुप्त सेवा को अपनी सुरक्षा रणनीतियों पर पुनर्विचार करने की आवश्यकता है।
आगे का रास्ता
चीटले को आने वाले दिनों में अपनी सुरक्षा उपायों को कड़ा करने और विफलताओं को दूर करने के लिए कदम उठाने होंगे। समिति के पास भी जिम्मेदारी है कि वह इस मामले में निष्पक्ष और ठोस जांच करें और अपनी सिफारिशें पेश करें। गुप्त सेवा को अपनी पुरानी गलतियों से सीखकर आगे बढ़ने की जरूरत है।
समीर चौधरी
मैं एक पत्रकार हूँ और भारत में दैनिक समाचारों के बारे में लेख लिखता हूँ। मेरा उद्देश्य समाज को जागरूक करना और सही जानकारी प्रदान करना है।
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